मैं तुम्हे खोने से डरता हूँ , की मई तुम्हे खोने से डरता हूँ ।
तुम अपनी मांग में मेरे नाम की सिंदूर भर के मेरा ये डर दूर करोगी क्या ।।
तुम्हारी कलाई बहुत सुनी लगती है , की तुम्हारी कलाई बहुत सुनी लगती है ।
मेरे हाथों से चूड़िया पहनोगी क्या ।।।
मैं तुम्हे घडी नहीं पहनने दूंगा क्यूंकि वक्त भी तुम्हे देख के रुक जाता है ।
और मैं नहीं चाहता की तुम उस रुके हुए वक्त को वक्त निकाल के देखो ।।।।।
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